एप्पल न्यूज़, रंजू जम्वाल बिलासपुर
चंडीगढ़ से वृक्ष प्रसादम फाउंडेशन की एक टीम माता श्री नैना देवी के दरबार में पहुंची और जिसमें म्यूजियम एंड आर्ट चंडीगढ़ के डायरेक्टर डॉक्टर पीसी शर्मा और वृक्ष प्रसाद फाउंडेशन के अध्यक्ष राहुल महाजन मौजूद रहे।
चंडीगढ़ से आए म्यूजियम एवं आर्ट के डायरेक्टर डॉक्टर पीसी शर्मा ने पत्रकारों को बताया कि इससे पहले यह योजना साउथ के त्रिपति बालाजी मंदिर और पंजाब के गोल्डन टेंपल में बड़े जोर शोर से चलाई गई है।
सिख श्रद्धालुओं का तो इतिहास ही इन वृक्षों से जुड़ा है आम साहिब ,प्लाह साहिब और कई तरह के वृक्षों के नाम पर उनके गुरुद्वारों के नाम है इसलिए हमारी प्रकृति को बचाने के लिए पर्यावरण को बचाने के लिए आज वृक्षों की बहुत महत्वता है।
जिसके तहत यह योजना शुरू की गई है उन्होंने कहा कि पहले चरण में माता श्री नैना देवी सिद्ध, बाबा बालक नाथ और माता चिंतपूर्णी टेंपल इससे जुड़ जाएंगे और दूसरे चरण मंदिर श्री ज्वाला जी , श्री ब्रजेश्वरी देवी कांगड़ा और श्री चामुंडा देवी जबकि तीसरे चरण में माता वैष्णो देवी मंदिर इस योजना से जोड़ा जाएगा ताकि श्रद्धालु प्रसाद के रूप मे औषधीय और अध्यात्मिक पौधे माता के चरणों में चढ़ा सकें और भविष्य में उन्हें प्रसाद के रूप में भी पौधे मिले।
इसके अलावा नैना देवी के आसपास की पहाड़ियां है जहां पर घास फूस लगी है वहां पर भी एक मुहिम के तहत औषधीय पौधे अध्यात्मिक पौधे लगाए जाएंगे ताकि यहां का वातावरण भी शुद्ध हो और लोगों को अपनी बीमारियों के इलाज के लिए हर तरह की जड़ी बूटियां इन पौधों से प्राप्त हो सके
इस मौके पर वृक्ष प्रसादम फाउंडेशन के अध्यक्ष राहुल महाजन ने कहा कि वह पहले भी कई मंदिरों में हजारों की संख्या में यह आध्यात्मिक और औषधीय पौधे वितरित कर चुके हैं।
चंडीगढ़ के कई मंदिरों में उन्होंने यह मुहिम चलाई है और इससे लोगों में पर्यावरण संरक्षण और पौधारोपण के प्रति जागरूकता पैदा होती है और आने वाले समय के लिए यह बहुत जरूरी है।
इस मौके पर मंदिर न्यास के अध्यक्ष और कार्यक्रम के मुख्य अतिथि एसडीएम राज कुमार ठाकुर ने कहा कि वृक्षारोपण वृक्ष प्रसादम फाउंडेशन की एक बहुत अच्छी पहल है।
उन्होंने कहा कि अगर श्रद्धालु माता के दरबार में औषधि और आध्यात्मिक पौधे चढ़ाएंगे तो इन पौधों के द्वारा पर्यावरण सरक्षण को तो बल मिलेगा बल्कि क्षेत्र का वातावरण भी शुद्ध होगा उसने कहा कि वह इस पहल का पुरजोर समर्थन करते हैं और इसे यहां पर जल्द लागू किया जाएगा।
इस मौके मंदिर अधिकारी मंदिर, संस्कृत कॉलेज के प्रिंसिपल डॉक्टर नरोत्तम दत्त शर्मा, मंदिर न्यास के सहायक अभियंता प्रेम शर्मा और कर्मचारी यूनियन के प्रधान महेंद्र सिंह ठाकुर भी मौजूद रहे।