एप्पल न्यूज, नरिंदर सिंह ”बोब्बी” डलहौज़ी ”चम्बा”
विश्व प्रसिद्ध हिमाचल प्रदेश के चम्बा जिला की पर्यटन नगरी डलहोजी में बिल अदा न होने विधुत विधग द्वारा स्ट्रीट लाइट का कनेक्शन काटने पर नगर परिषद व विधुत विभाग में तालमेल न होने से टकराव अब दोनों आमने सामने , शहर में अंधेरा कायम ओर ब्लैक आउट जैसी स्थिति,लोग परेशान परिषद को कहा जा रहा नाकाम।
एंकर- विश्व प्रसिद्ध हिमाचल प्रदेश के चम्बा जिला की पर्यटन नगरी डलहोजी में करीब छह करोड़ का पूरा बिल अदा न होने पर विधुत विभाग द्वारा स्ट्रीट लाइट का कनेक्शन एक बार फिर काटा। जिस पर कार्यवाई करते हुए नगर परिषद डलहोजी ने भी परिषद की जमीन पर लगे ट्रांसफॉर्मर आदि का ढाई करोड़ से ज्यादा किराए का बिल विधुत विभाग को थमा दिया है।
इससे नगर परिषद डलहौजी व विधुत विभाग अब खुलकर आमने सामने आ गए है जिससे स्ट्रीट लाइट का मामला बुरी तरह से उलझा व शहर में अंधेरा कायम ओर ब्लैक आउट जैसी स्थिति।
नगर परिषद डलहोजी व विधुत विभाग में बुरी तरह से टकराव ओर इन दो विभागों में तालमेल न होने के कारण ओर आपसी खींचतान का खामियाजा शहर की जनता के साथ यहाँ घूमने आए पर्यटकों को भी भुगतना पड़ रहा है।
पिछले कई दिनों से स्ट्रीट लाइट न जलने से शहर में अंधेरा कायम है। चारो तरफ से गहरे जंगल से घिरी नगर परिषद डलहोजी की हज़ारो की आबादी शाम ढलते ही अंधेरे में रहने को मजबूर है शाम ढलने के बाद पूरे क्षेत्र में अंधरा व्याप्त हो जाता है।
छोटे बच्चे व महिलाएं शाम के बाद बाहर नहीं निकल पा रहे हैं। खतरनाक जंगली जानवरों भालू तेंदुए आदि के हमले व जहरीले जीव जंतु के काटने का भय भी सता रहा है। वहीं रात के अंधेरे में शातिरों के अनहोनी वारदातों को अंजाम देने का भी डर सताने लगा है।
नगर परिषद के सभी नो वार्डों में अव्यवस्था के चलते अंधेरा पसरने से शहरवासियों में भी भारी रोष है। जिसे स्थानीय लोग चुनी हुई नगर परिषद की नाकामी बता रहे हैं। बता दे की पहले भी बिल जमा ना करने पर बिजली विभाग ने स्ट्रीट लाइट के कनेक्शन काटे थे।
गौरतलब है कि नगर परिषद डल्हौजी की वित्तीय स्थिति बुरी तरह से चरमरा गई है। बजट की कमी के चलते परिषद बिजली बिल तो क्या अपने स्टाफ को सैलरी भी समय पर नहीं दे पा रहा है।
लिहाज़ा अब नगर परिषद डलहोजी भी विधुत विभाग से वसूली को तैयार हो गई है परिषद की जमीन पर लगे तमाम ट्रांसफॉर्मर ,पावर स्टेशन और बिजली के खंभों आदि की जानकारी एकत्रित की जा रही है।
बाद में इनका शुल्क भी वसूला जाएगा कुल मिलाकर यह कहा जा सकता है कि डलहोजी में नगर परिषद प्रशासन और बिजली विभाग अब खुलकर आमने सामने आ गए हैं।
कुल मिलाकर चाहे नगर परिषद की स्ट्रीट लाइटें हो या फिर बिजली बोर्ड के ट्रांसफार्मर, दोनों ही जनसुविधा के लिए एक लंबे समय से लगे हैं, लेकिन अब दोनों विभाग ही बिजली बिलों और ट्रांसफार्मरों की किराया वसूली को लेकर खुलकर आमने-सामने हैं । ऐसे में यदि दोनों विभागों के बीच यह टकराव जारी रहा, तो आने वाले दिनों में जनता को भी इसका खामियाजा भुगतना पड़ सकता है।
आप यह जानकर चौंक जाएंगे कि रात के अंधेरे में जिस सार्वजनिक रोशनी का उपयोग स्ट्रीट लाइट के रूप में हम सब कर रहे हैं, वह सरकार, एडीए या नगर निगम की तरफ से फ्री नहीं है। इसके लिए आपके निजी बिजली के बिलों में कुछ पैसे प्रति यूनिट की दर से भी एम टैक्स के रूप में वसूला जा रहा है।
नगर परिषद डलहोजी के वार्ड नं दो के पार्षद अजय चौहान ने भी अपनी नाकामी मानते हुए कहा वह शहर वासियों से जो टैक्स लेते है उसके बदले में वह जानता को स्ट्रीट लाइट जैसी मूलभूत सुविधा भी देने में नाकाम रहे है।
उन्होंने परिषद की अध्यक्ष रानी शर्मा से अनुरोध किया की जल्दी एक बैठक रखे ताकि इन मसलो का स्थाई हल निकाल सके। उन्होंने कहा इस मसले का सरकार से मिलकर भी स्थायी हल निकालने की कोशिश की जाएगी ।
पार्षद अजय चौहान ने बिजली विभाग को संयमित व्यवहार करने की नसीहत देते हुए कहा नगर परिषद डलहोजी की जनता को सेवा प्रदान करती है। नगर परिषद बिजली से कोई लाभ अर्जित नहीं करता है, बल्कि जनता को सेवा देता है स्ट्रीट लाइट का भी अपनी तरफ से भुगतान करता है। उनको इस तरह के कठोर क़दम नहीं उठाने चाहिए।
नगर परिषद को भी आपसे संपत्ति आदि का कर लेना होता है। लेकिन हमने कभी ताले नहीं लगाए इस प्रकार से काम नहीं चलता तालमेल के साथ काम होता है। वैसे भी नगर परिषद की जमीन पर बने तमाम ट्रांसफॉर्मर ,पावर स्टेशन और बिजली के खंभों आदि की जानकारी एकत्रित की जा रही है. बाद में इनका शुल्क वसूला जाएगा।
बाइट – नगर परिषद के कार्यकारी अधिकारी राखी कौशल ने बताया कि बिजली बोर्ड ओर नगर परिषद का आपसी मतभेद चल रहा है ,उनके द्वारा जनसुविधा के लिए लगाई गई स्ट्रीट लाइटों की बिजली को इस बार बिना नोटिस के काटा गया है।
उन्होंने कहा नगर परिषद जनसुविधा के लिए लाइट का इस्तेमाल कर रही है, लिहाजा बिजली बोर्ड से मांग है कि नगर परिषद को घरेलू दामों पर स्ट्रीट लाइटों के लिए बिजली मुहैया करवाये और जो सरचार्ज भी बहुत ज्यादा लगा रहा है जो नही लगना चाहिए।
उन्होंने कहा करीब 3.5 करोड़ रुपये का बिल परिषद ने भी विधुत विभाग ने लेना है जो वह दे देते है तो वन टाइम सेटलमेंट कर सकते है।
डलहोजी नगर परिषद के के पूर्व पार्षद व डलहोजी व्यापार मंडल के प्रधान राकेश चोभियाल ने कहा की जब वो पार्षद थे तो उनके समय मे कभी स्ट्रीट लाइट नहीं कटी थी किन्तु मौजूदा नगर परिषद के समय बार बार स्ट्रीट लाइट बिल न देने के कारण काटी जा रही है जो उनकी नाकामी है।
शहर के लोगो ने उन्हें वोट देकर चुना है और टैक्स भी दे रहे है फिर भी शहर अंधेरे में है जिससे स्थानीय लोगो के साथ पर्यटक भी परेशान हो रहे है । उन्होंने कहा दोनों विभाग शहरवासियों को परेशान न करे आपसी तालमेल रखे और स्ट्रीट लाइट जलाये नही तो जो जरूरी कदम होंगे वह उठाएंगे।