एप्पल न्यूज, शिमला
हिमाचल प्रदेश में मौसम का मिजाज तेजी से बदल रहा है, और आने वाले दिनों में प्रदेश के कई हिस्सों में बारिश और बर्फबारी का सिलसिला जारी रहेगा।
मौसम विभाग के अनुसार, पश्चिमी विक्षोभ के प्रभाव से हिमाचल के ऊंचाई वाले इलाकों में हल्की से मध्यम बर्फबारी और निचले व मैदानी क्षेत्रों में तूफान व भारी बारिश की संभावना है। यह स्थिति पांच जनवरी से लेकर सात जनवरी तक बनी रह सकती है।
ऊंचाई वाले इलाकों में बर्फबारी:
प्रदेश के पर्वतीय और ऊंचाई वाले क्षेत्रों में हल्की से मध्यम बर्फबारी पहले ही शुरू हो चुकी है। इस मौसम का सीधा प्रभाव यातायात और रोजमर्रा की आवश्यक सेवाओं पर पड़ेगा।
सड़कों पर बर्फ जमने के कारण आवागमन बाधित हो सकता है। इन इलाकों में दूध, सब्जी, और अन्य जरूरी सामान की आपूर्ति में भी कठिनाइयां आ सकती हैं। जल आपूर्ति में रुकावट आने की संभावना है, क्योंकि पानी के स्रोत जम सकते हैं।
मैदानी क्षेत्रों में तूफान:
मैदानी इलाकों में बारिश के साथ तेज़ तूफान आने की संभावना जताई गई है। इस दौरान बिजली और संचार सेवाएं प्रभावित हो सकती हैं।
तेज़ हवाओं और धुंध के कारण विज़िबिलिटी कम हो सकती है, जिससे वाहन चालकों को परेशानी होगी। मौसम विभाग ने पर्यटकों और स्थानीय लोगों से सतर्क रहने और विभाग की सलाह का पालन करने की अपील की है।
धुंध और ठंड का असर:
धुंध का प्रभाव विशेष रूप से ऊना, सोलन, सिरमौर, हमीरपुर और कांगड़ा जैसे इलाकों में देखने को मिलेगा। इन जगहों पर सुबह और रात के समय धुंध छाए रहने के कारण ट्रैफिक में दिक्कतें आ सकती हैं। इसके अलावा, राज्य के कई जिलों में कड़ाके की ठंड जारी है।
पश्चिमी विक्षोभ और चक्रवात:
मौसम विभाग के अनुसार, जम्मू-कश्मीर और उत्तरी पाकिस्तान में पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय है। इसके अलावा, ईरान और अरब सागर से नमी खींचने की संभावना है, जिससे हिमाचल प्रदेश और आसपास के राज्यों में व्यापक बारिश और बर्फबारी हो सकती है।
पांच जनवरी को पंजाब के आसपास चक्रवाती परिसंचरण बनने की भी संभावना है, जिसका असर हिमाचल पर भी पड़ेगा।
दिसंबर में रिकॉर्ड बारिश:
दिसंबर महीने ने इस बार बारिश के नए रिकॉर्ड बनाए हैं। 124 वर्षों में यह 44वीं बार हुआ है कि हिमाचल में इतनी अधिक बारिश दर्ज की गई। इस महीने औसत बारिश 48.2 मिमी रही, जो सामान्य से 27% अधिक है।
सबसे ज्यादा बारिश ऊना में दर्ज की गई, जहां सामान्य से 161% अधिक वर्षा हुई। वहीं, 28 दिसंबर को ऊना के भरवाईं में 70 मिमी बारिश और 29 दिसंबर को चंबा के भरमौर में 43 सेंटीमीटर बर्फबारी दर्ज की गई।
अक्तूबर-नवंबर में सूखा:
हालांकि, अक्तूबर और नवंबर में बारिश का अभाव रहा। इस दौरान सामान्य से 97% और 99% तक कम बारिश हुई। यह स्थिति प्रदेश के जलस्तर और कृषि पर नकारात्मक प्रभाव डाल सकती है।
सावधानी और तैयारी:
मौसम विभाग ने लोगों से अपील की है कि वे सतर्क रहें और यात्रा करने से पहले मार्ग और मौसम की स्थिति की जानकारी लें। पर्यटन स्थलों पर जाने वाले लोग भी सावधान रहें और बर्फबारी के कारण अवरुद्ध रास्तों की स्थिति की जांच करें।