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“पटाखे” चलाने का समय रात 8 से 10 बजे तक तय, “फायर ब्रिगेड” ने जारी की “एडवाइजरी”, जानें क्या सावधानी बरतें

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एप्पल न्यूज, शिमला

जिला दण्डाधिकारी एवं उपायुक्त शिमला अनुपम कश्यप ने आदेश जारी करते हुए बताया कि दिवाली त्योहार के दौरान पटाखे चलाने और उपयोग करने का समय रात 8 बजे से 10 बजे तक तय किया गया है और इस दौरान केवल हरित पटाखों के उपयोग की ही अनुमति होगी।
उन्होंने बताया कि जिन शहरों व कस्बों में वायु की गुणवत्ता मध्यम या उससे नीचे है, वहां केवल ग्रीन पटाखे बेचे जाएं और दिवाली, छठ, नव वर्ष व क्रिसमस की पूर्व संध्या आदि जैसे त्योहारों के दौरान पटाखे चलाने और इस्तेमाल करने का समय दो घंटे तक सीमित रखा गया है।

यह निर्देश (2019) 13 एससीसी 523 में सर्वोच्च न्यायालय के निर्देश के आधार पर है। उन्होंने बताया कि दीपावली पर रात 8 बजे से 10 बजे तक, गुरुपुरब पर प्रातः 4 से 5 बजे व रात 9 से 10 बजे तक, क्रिसमस ईव पर रात 11:55 से 12:30 बजे तक तथा नववर्ष की पूर्व संध्या पर रात 11:55 से 12:30 बजे तक ही पटाखे चलाने की अनुमति होगी।
उन्होंने बताया कि आदेशों के उल्लंघन करने वाले के खिलाफ पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम, 1986 की धारा 15 के तहत दंडात्मक कार्रवाई के अलावा बीएनएस 2023 की धारा 223 और लागू अन्य प्रावधानों के तहत कानूनी कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
इस आदेश का अनुपालन पुलिस अधीक्षक शिमला तथा शिमला जिले के सभी उपमंडल दण्डाधिकारियों द्वारा सुनिश्चित किया जाएगा।

हिमाचल प्रदेश अग्निशमन सेवा विभाग ने दिवाली के मद्देनजर जारी की एडवाइजरी

प्रदेश में दिवाली त्यौहार के मद्देनजर हिमाचल प्रदेश अग्निशमन सेवा ने दिवाली के दौरान अग्नि सुरक्षा के लिए एडवाइजरी जारी की है।
एडवाइजरी के अनुसार, लोगों को लाइसेंस प्राप्त विक्रेताओं से पटाखे खरीदने और दुर्घटनाओं के जोखिम को कम करने के लिए कानूनी रूप से स्वीकृत गुणवत्ता वाले पटाखे ही खरीदने चाहिए।

इसके अलावा, पटाखे खुली जगहों पर फोड़ने चाहिए और इमारतों, वाहनों और ज्वलनशील पदार्थों से दूर, पार्कों या बड़े मैदानों जैसे खुले क्षेत्रों में पटाखे जलाने चाहिए।

आग लगने की आपात स्थिति में पास में पानी की एक बाल्टी रखें और हमेशा पानी तैयार रखें। आग से संबंधित चोट के जोखिम को कम करने के लिए सूती कपड़े पहने, क्योंकि सिंथेटिक कपड़े आसानी से आग पकड़ सकते हैं।

पटाखे फोड़ते समय बच्चों की निगरानी के लिए हमेशा किसी बड़े व्यक्ति को उनके साथ रखें ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि वे सुरक्षा उपायों का पालन कर रहे हैं। पटाखे फोड़ने के बाद, बची हुई चिंगारी को जलने से रोकने के लिए इस्तेमाल किए गए पटाखों को पानी की बाल्टी में रख दें।

अप्रत्याशित विस्फोटों को रोकने के लिए एक साथ कई पटाखे न जलाएँ। चोट से बचने के लिए पटाखे जलाने के बाद उससे सुरक्षित दूरी पर खड़े रहें। पटाखे हमेशा हवा की दिशा को ध्यान में रखते हुए जलाएं ताकि वे घरों या लोगों की ओर न उड़ें।
घरों के अंदर, खिड़कियों के पास या अन्य सीमित स्थानों पर कभी भी पटाखे न जलाएं। ढीले कपड़े पहनने से बचें जो आसानी से आग पकड़ सकते हैं।

पटाखों को सूखे पत्तों, गैस सिलेंडर या वाहनों जैसी चीजों से दूर रखें। अगर कोई पटाखा जलने में विफल रहता है, तो उसे दोबारा जलाने की कोशिश न करें। कुछ मिनट प्रतीक्षा करें और फिर सुरक्षित रूप से उसका निपटान करें।

सुनिश्चित करें कि पटाखे ऐसी जगहों पर न चलाए जाएं जो आग लगने की स्थिति में निकास या बचने के रास्तों को बंद कर सकते हैं। तेल के लैंप, मोमबत्तियों या दीयों को कभी भी बिना देखे न छोड़ें, खासकर पर्दे या ज्वलनशील पदार्थों के पास।

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