चारों ओर ऊंचे पर्वत बीच में गहरी खाई
हे राजा राम सिंह जी
क्या आपके मन में आई
जो सतलुज नदी के किनारे
रामपुर नाम की छोटी सी नगरी बसाई
एक ओर है श्री खंड इसके
दूसरी ओर भीमा काली माई
चारों ओर से रक्षा करती
इसकी जय मां श्री कोटी शराई
महिषासुर मर्दिनी मंदिर को देख लो
थकते नहीं कर कर इसकी बढ़ाई
भैरव मंदिर सत्यनारायण शिव दवाला
जानकीमाई रघुनाथ जाख मंदिरो ने
है इस की शोभा बढ़ाई
हे राजा राम सिंह जी
क्या आपके मन में समाई
जो सतलुज नदी के मुहाने पर
छोटी सी प्यारी सी रामपुर नाम की नगरी बसाई
निशांत शर्मा, युवा कवि
रामपुर बुशहर