एप्पल न्यूज़, शिमला
हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस नेतृत्व पर लगातार अनदेखी के आरोप लग रहे हैं। ये आरोप पार्टी के वरिष्ठ और अनुभवी नेताओं की अनदेखी के हैं। इसी कड़ी में अब हिमाचल प्रदेश युवा कांग्रेस व एनएसयूआई के स्टेट कॉर्डिनेटर संदीप कुमार ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने सीधे तौर पर पार्टी प्रभारी को कटघरे में खड़ा कर दिया है।
सन्दीप कुमार बीते 36 वर्षों से पूर्णकालिक सदस्य के तौर पर पार्टी की सेवा कर रहे हैं।
इस दौरान पूरी निष्ठा, मेहनत व ईमानदारी से उन्होंने कई महत्वपूर्ण पदों पर कार्य किया। महीनों अपने घर से बाहर दूसरे कई राज्यों में भी कार्य किया। वर्तमान में भी फ्रंटल विंग्स के स्टेट कॉर्डिनेटर के तौर पर कार्य कर रहे थे और उत्तराखंड के चुनावों में पार्टी की डोर थामे कार्य कर रहे थे लेकि इसका ईनाम उन्हें अनदेखी से मिला है।
पार्टी के पदाधिकारी होने के बावजूद उन्हें पार्टी की अहम बैठकों से दूर रखा गया। उन्होंने रोष जताया है कि हाल ही में नगर निगम शिमला के चुनावों को लेकर चंडीगढ़ में हुई बैठक में उन्हें बुलाया ही नहीं गया। जबकि हिमाचल से 50 पदाधिकारियों को बुलाया गया था लेकिन संदीप कुमार का नाम लिस्ट से गायब था।
वहीं शिमला में भी कई बैठकें हुई और कमेटियों का गठन किया गया लेकिन न तो बैठक में बुलाना उचित समझा और न ही कमेटियों में रखा गया।
इस बात से नाराज सन्दीप कुमार ने हिमाचल कनग्रेस प्रभारी राजीव शुक्ला को ई-मेल के माध्यम से सूचित भी किया लेकिन उनकी तरफ से कोई जवाब नहीं मिला।
व्यक्तिगत तौर पर भी मामला उठाने के बाद जब कोई सकारात्मक नतीजा नहीं आया तो अब उन्होंने अपने सभी पदों से इस्तीफा दे दिया।
यही नहीं उन्होंने इस पूरे प्रकरण की प्रति कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल और पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी को भी भेजकर पार्टी प्रभारी और प्रदेश कांग्रेस नेतृत्व पर सवाल खड़े कर दिए हैं।
सन्दीप कुमार ने कहा कि यदि पार्टी पदाधिकारी और पूर्णकालिक पार्टी वर्कर की ऐसी अनदेखी की जाएगी तो उन्हें ऐसा कोई पद नहीं चाहिए वह पार्टी के आम कार्यकर्ता की तरह पार्टी की सेवा करेंगे।