IMG_20220716_192620
IMG_20220716_192620
previous arrow
next arrow

कृषि, बागवानी क्षेत्र की क्षमताओं के सुदृढ़ीकरण से ग्रामीण आर्थिकी में आएगा बदलाव, हिम उन्नति के तहत 2600 क्लस्टर होंगे विकसित

एप्पल न्यूज, शिमला

हिमाचल प्रदेश के कृषि और बागवानी क्षेत्रों के पुनरूद्धार के उद्देश्य से राज्य सरकार द्वारा अनेक महत्त्वाकांक्षी परियोजनाओं का क्रियान्वयन किया जा रहा है। इनके माध्यम से किसानों और बागवानों की आर्थिकी सुदृढ़ होगी।

प्रदेश की ग्रामीण आबादी मुख्य रूप से कृषि और संबद्ध क्षेत्रों से जुड़ी हुई है। ऐसे में प्रदेश सरकार राज्य की ग्रामीण अर्थव्यवस्था को सुदृढ़ करने की दिशा में ठोस कदम उठा रही है।
पूर्व में विभिन्न छोटी-छोटी योजनाओं के माध्यम से नकदी फसलों, सब्जी उत्पादन और बे-मौसमी फसलों को प्रोत्साहित किया गया, लेकिन अब तक किसानों को इन योजनाओं का पूर्णकालिक लाभ नहीं मिल पाया है।

कठिन भौगोलिक परिस्थितियों  और कृषि योग्य सीमित भूमि के कारण प्रदेश में पड़ोसी राज्यों की तुलना में खेतीबाड़ी कठिन हो जाती है।
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि इस चुनौती से निपटने और राज्य में कृषि का एकीकृत विकास सुनिश्चित करने के उद्देश्य से सरकार ने क्षेत्र-विशेष आधारित एकीकृत और समग्र कृषि विकास योजना ‘हिम उन्नति’ शुरू करने का निर्णय लिया है।

उन्होंने कहा कि ‘हिम उन्नति’ राज्य में कृषि को फिर से परिभाषित करने के लिए तैयार की गई है। यह एक क्षेत्र-आधारित तथा क्लस्टर-उन्मुख दृष्टिकोण पर आधारित समग्र विकास योजना है, जिससे लक्षित एवं एकीकृत कृषि विकास सुनिश्चित होगा।

इस योजना के अन्तर्गत प्रदेशभर में चिन्हित किए गए समूहों के लिए स्थानीय जलवायु, भौगोलिक परिस्थितियों और मिट्टी की स्थिति अनुरूप योजनाएं तैयार की जाएंगी।
कृषि और पशुपालन विभाग द्वारा क्रियान्वित योजनाओं का समन्वय और जाइका चरण-2 की उप-परियोजनाओं को भी इसमें शामिल किया जाएगा।

‘हिम उन्नति’ का उद्देश्य लाभार्थी परिवारों का सामाजिक आर्थिक उत्थान सुनिश्चित करना है। योजना के अन्तर्गत प्रारंभिक चरण में दुग्ध उत्पादन, दालें, बाजरा, सब्जियां, फल, फूल, नकदी फसलें और प्राकृतिक खेती में विशेषज्ञता वाले समूहों के लिए 150 करोड़ रुपये का रुपये का प्रावधान किया गया है।
इस योजना के तहत आगामी पांच वर्षों में राज्य में कुल 2600 क्लस्टर विकसित किए जाएंगे। इस वर्ष, कृषि विभाग ने खरीफ मौसम में 51 क्लस्टर निर्धारित किए हैं और इसी वर्ष रबी सीजन के दौरान लगभग 286 क्लस्टर विकसित किए जाएंगे। इस वर्ष योजना के लिए 25 करोड़ रुपये का बजट प्रावधान किया गया है।
हिमाचल को ‘फल राज्य’ के रूप में स्थापित करने के लिए राज्य सरकार द्वारा हिमाचल प्रदेश उपोष्ण कटिबंधीय बागवानी, सिंचाई और मूल्य संवर्द्धन (एचपी-शिवा) परियोजना का सफल क्रियान्वयन सुनिश्चित किया जा रहा है। इस योजना का उद्देश्य राज्य की प्रचुर कृषि-जलवायु स्थितियों का दोहन करना है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि इस महत्त्वाकांक्षी परियोजना के अन्तर्गत उपोष्ण कटिबंधीय जलवायु वाले राज्य के सात जिलों बिलासपुर, हमीरपुर, कांगड़ा, मंडी, सोलन, सिरमौर और ऊना के 28 विकास खंडों में 6,000 हेक्टेयर भूमि को विकसित किया जाएगा। इस परियोजना की कुल लागत 1292 करोड़ रुपये है, जिसमें से 1030 करोड़ रुपये एशियन विकास बैंक और 262 करोड़ रुपये राज्य सरकार द्वारा वहन किए जाएंगे।
इस परियोजना के अन्तर्गत ‘एक फसल एक क्लस्टर’ के दृष्टिकोण से संतरे, अमरूद, अनार और कई अन्य फलों का उत्पादन किया जाएगा। इसमें निजी भूमि मालिकों को भी इन फलों के उत्पादन के लिए प्रेरित किया जाएगा। इसके अलावा, मज़बूत मूल्य श्रृंखला बुनियादी ढांचे के विकास के माध्यम से फसल उपरांत नुकसान को कम करते हुए फलों का उत्पादन बढ़ाने के लिए एक करोड़ पौधे लगाए जाएंगे। परियोजना से लगभग 15 हजार किसान-बागवान प्रत्यक्ष तौर पर लाभान्वित होंगे।
परियोजना के तहत ‘बीज से बाजार’ अवधारणा को आधार बनाकर किसानों के उत्पादों की वैज्ञानिक तरीके से गुणवत्ता बढ़ाकर उन्हें उचित बाजार उपलब्ध करवाया जाएगा। विपणन की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए 14 चिन्हित फलों और फसलों की बाजार मांग और उनकी मूल्य श्रृंखला के विभिन्न घटकों का अध्ययन भी किया जाएगा।
सतत विकास, उत्पादकता को बढ़ाने और आय में वृद्धि पर बल देते हुए सरकारी की ये नवोन्मेषी पहल ग्रामीण विकास का आदर्श प्रस्तुत करने में सहायक सिद्ध होंगी।

Share from A4appleNews:

Next Post

सैंज में स्थापित हुई पूर्व CM राजा वीरभद्र सिंह की पहली प्रतिमा, अग्निहोत्री ने किया अनावरण

Thu Jun 22 , 2023
कुमारसैन बस अड्डा का एक माह के अंदर होगा लोकार्पण, निरथ बांध से उठाऊ सिंचाई योजना के लिए तैयार होगी डीपीआर – मुकेश अग्निहोत्री एप्पल न्यूज, शिमला मुकेश अग्निहोत्री ने कहा कि आज का दिन प्रदेश के लिए बेहद महत्वपूर्ण है क्योंकि आज पूर्व मुख्यमंत्री राजा वीरभद्र सिंह की प्रथम […]

You May Like

Breaking News