एप्पल न्यूज, शिमला
हिमाचल प्रदेश में शिक्षक भर्ती नियमों में हुए इन बदलावों से SMC (School Management Committee) शिक्षकों को बड़ी राहत मिली है।
ये बदलाव SMC शिक्षकों के लिए फायदेमंद साबित होंगे, क्योंकि अब वे नियमित सरकारी शिक्षकों की श्रेणी में आने का अवसर पा सकते हैं।
हालांकि, बैचवाइज कोटे में कटौती से अन्य अभ्यर्थियों पर कुछ प्रभाव पड़ सकता है।

इस संशोधन के प्रमुख बिंदु इस प्रकार हैं:
मुख्य बदलाव
- SMC शिक्षकों के लिए एलडीआर (Limited Direct Recruitment) कोटा
- अब 0.5% कोटा SMC शिक्षकों को दिया जाएगा।
- केवल वे SMC शिक्षक इस कोटे के तहत पात्र होंगे, जिन्हें 7 जुलाई 2012 को घोषित नीति के तहत नियुक्त किया गया था और जिन्होंने कम से कम 5 वर्ष की सेवा पूरी कर ली है।
- इन शिक्षकों को भर्ती प्रक्रिया में भाग लेने के लिए ऊपरी आयु सीमा (45 वर्ष) से छूट दी गई है।
- TGT भर्ती नियमों में बदलाव
- 37.5% सीटें अब HPSSC (Himachal Pradesh Staff Selection Commission) के माध्यम से सीधी भर्ती के लिए आरक्षित रहेंगी।
- 32.5% सीटें बैचवाइज भर्ती के लिए निर्धारित की गई हैं (पहले यह अधिक थी)।
- 0.5% सीटें SMC शिक्षकों के लिए आरक्षित की गई हैं।
- 25% सीटें प्रोमोशन के लिए पहले की तरह ही बनी रहेंगी।
- अब TGT भर्ती में पोस्ट ग्रेजुएशन (Master’s Degree) के अंक भी पात्रता के लिए मान्य होंगे, यदि ग्रेजुएशन में न्यूनतम आवश्यक अंक नहीं हैं।
- JBT और ड्राइंग मास्टर के लिए भी नियम बदले
- बैचवाइज कोटे में 5% की कटौती की गई है।
- SMC शिक्षकों को LDR कोटा का लाभ मिलेगा।
- स्कूल लेक्चरर कैटेगरी में बदलाव
- चूंकि इस श्रेणी में बैचवाइज भर्ती नहीं होती, इसलिए SMC शिक्षकों के लिए 5% एलडीआर कोटा सीधे भर्ती से दिया जाएगा।
नए नियमों का असर
- हिमाचल प्रदेश में लगभग 2,408 SMC शिक्षक कार्यरत हैं, जिन्हें अब नियमित सरकारी सेवा में आने का अवसर मिलेगा।
- पुराने SMC शिक्षक, जो आयु सीमा पार कर चुके हैं, वे भी सरकारी नौकरी के लिए पात्र हो जाएंगे।
- बैचवाइज भर्ती के प्रतिशत में कटौती से नए अभ्यर्थियों के लिए अवसर थोड़े कम हो सकते हैं।
- TGT भर्ती में पोस्ट ग्रेजुएशन के अंक मान्य होने से कई अभ्यर्थियों के लिए योग्यता की नई राह खुलेगी।
